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प्रेगनेंसी में पनीर खाने के फायदे व नुकसान | Pregnancy Me Paneer Khana Chahiye Ki Nhi

पनीर एक तरह का डेयरी पदार्थ है, जिसे दूध में खटास का इस्तेमाल करके बनाया जाता है। शायद ही कोई ऐसा होगा जिसे पनीर या फिर कॉटेज चीज़ (cottage cheese) पसंद न हो। स्वाद के लिहाज से यह लजीज होता है, लेकिन क्या पनीर या पनीर से बने खाद्य पदार्थों का गर्भावस्था में सेवन किया जा सकता है? साथ ही गर्भावस्था में इसके फायदे और नुकसान क्या हैं? ऐसे कई सवाल हैं, जो कई गर्भवती महिलाओं के दिमाग में घूमते हैं। मॉमजंक्शन के इस आर्टिकल में भी हम इसी मुद्दे पर बात कर रहे हैं। यहां हम पनीर से जुड़ी हर जानकारी बताने का प्रयास कर रहे हैं।

सबसे पहले हम जानते हैं कि पनीर गर्भावस्था में सुरक्षित है या नहीं।

In This Article

क्या गर्भावस्था के दौरान पनीर खाना सुरक्षित है?

जी हां, पाश्चरीकृत दूध से बने पनीर का गर्भावस्था में सेवन किया जा सकता है। आयरन, कैल्शियम और प्रोटीन जैसे पोषक तत्वों के के कारण गर्भवती महिलाओं के लिए पनीर की सिफारिश की जाती है। इसमें पाए जाने वाले ये पोषक तत्व गर्भवती के स्वास्थ्य के साथ ही होने वाले शिशु के विकास के लिए भी फायदेमंद हो सकते हैं (1) (2)

आइए, अब जानते हैं कि गर्भावस्था के दौरान पनीर को कब खा सकते हैं।

गर्भावस्था के दौरान पनीर कब खाना चाहिए?

हालांकि, गर्भावस्था के दाैरान पनीर खाना फायदेमंद है, लेकिन इसे किस तिमाही में खाना चाहिए, इस संबंध में पर्याप्त शोध उपलब्ध नहीं है। इसलिए, अगर आप गर्भावस्था के दौरान पनीर खाना चाहती हैं, ताे बेहतर यही होगा कि एक बार चिकित्सक परामर्श जरूर कर लें। डॉक्टर आपकी सेहत व गर्भावस्था की स्थिति के अनुसार सलाह देंगे कि पनीर को कब और कितनी मात्रा में खाना चाहिए।

आइए, अब जानते हैं कि एक दिन में कितना पनीर खाना सुरक्षित हो सकता है।

मैं गर्भावस्था में एक दिन में कितना पनीर खा सकती हूं?

शोध में पाया गया है कि गर्भावस्था में पनीर की 4 से 5 सर्विंग मलतब करीब 120 से 140 ग्राम पनीर फायदेमंद हो सकता है (3) फिर भी आपकी सेहत के अनुसार पनीर की कितनी मात्रा उचित यह डॉक्टर ही बता सकता है, क्योंकि हर महिला की गर्भावस्था अलग-अलग होती है।

आगे हम पीनर में पाए जाने वाले पोषक तत्वों के बारे में बता रहे हैं।

पनीर के पोषक तत्व

पनीर में विभिन्न तरह के पोषक तत्व पाए जाते हैं। नीचे हम टेबल के जरिए उनके बारे में बता रहे हैं।

साथ ही उनकी मात्रा के बारे में भी जिक्र किया गया है (4):

पोषक तत्वमात्रा प्रति 100 ग्राम
ऊर्जा321 kcal
प्रोटीन21.43 ग्राम
फैट25 ग्राम
कार्बोहाइड्रेट3.57 ग्राम
शुगर3.57 ग्राम
मिनरल्स
कैल्शियम714 मिलीग्राम
सोडियम18 मिलीग्राम
विटामिन
विटामिन-ए, आईयू714 आईयू
लिपिड्स
फैटी एसिड टोटल सैचुरेटेड16.07 ग्राम
कोलेस्ट्रॉल89 मिलीग्राम

आर्टिकल के इस हिस्से में पनीर के फायदों के बारे में बताया जा रहा है।

गर्भावस्था के दौरान पनीर के 6 स्वास्थ्य लाभ | Pregnancy Me Paneer Khane Ke Fayde

गर्भावस्था में पनीर का सेवन करने से निम्नलिखित फायदे हो सकते हैं:

  1. भ्रूण के विकास में सहायक : 100 ग्राम पनीर में लगभग 21.43 ग्राम प्रोटीन की मात्रा होती है (4)। गर्भावस्था के दौरान माता और भ्रूण दोनों के अच्छे स्वास्थ्य के लिए प्रोटीन एक आवश्यक पोषक तत्व होता है। प्रोटीन की कमी के कारण भ्रूण के विकास में कमी, मांसपेशियों की कमजोरी, गंभीर बीमारी और कुपोषण की समस्या हो सकती है। प्रोटीन की खुराक इन सभी समस्याओं को दूर रखने में मदद कर सकती है (5)
  1. मजबूत हड्डियों के लिए : गर्भावस्था के दौरान कैल्शियम अहम पोषक तत्व हो सकता है। 100 ग्राम पनीर में लगभग 714 मिलीग्राम कैल्शियम की मात्रा होती है (4)गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को प्रतिदिन कम से कम 1000 मिलीग्राम कैल्शियम सप्लीमेंट की आवश्यकता हाेती है। साथ ही भ्रूण की हड्डियों के विकास के लिए भी कैल्शियम जरूरी पोषक तत्व है। खासकर, गर्भावस्था की दूसरी और तीसरी तिमाही के दौरान कैल्शियम जरूर लेना चाहिए। कैल्शियम से रक्तचाप भी संतुलित रहता है और अगली पीढ़ी में उच्च रक्तचाप की समस्या को रोकने में मदद मिलती है (6)
  1. आंखों के लिए जरूरी : गर्भवती महिलाओं और भ्रूण के लिए विटामिन-ए भी जरूरी पोषक तत्व माना गया है। शारीरिक और मानसिक विकास के साथ ही आंखों के लिए भी यह आवश्यक पोषक तत्व माना जाता है। इसके अलावा, विटामिन-ए भ्रूण के अंगों और हड्डियों के विकास के लिए भी जरूरी होता है। विटामिन-ए रतौंधी यानी अंधेपन से भी बचा सकता है। त्वचा के लिए विटामिन-ए का सुरक्षात्मक प्रभाव देखा गया है (7)। इसलिए, गर्भावस्था में पनीर का सेवन विटामिन-ए की पूर्ती के लिए कारगर हो सकता है।
  1. मां व शिशु का पूर्ण विकास : माना गया है गर्भावस्था में हर पोषक तत्व की अपनी अलग भूमिका होती है। उन्हीं में से एक है विटामिन-डी है। पनीर को विटामिन-डी का अच्छा स्रोत माना गया है (8)। विटामिन-डी गर्भवती महिला के स्वास्थ्य, भ्रूण के विकास और प्रसव के बाद वाले समय के लिए जरूरी है। विटामिन-डी के सेवन से अस्थमा और टाइप 1 डायबिटीज जैसे रोग को होने से रोक सकता है (9)
  1. एनीमिया से बचाव : पनीर में पाई जाने वाली आयरन की मात्रा भी गर्भावस्था के दौरान फायदेमंद हो सकती है (2)। गर्भावस्था के दौरान आयरन की कमी से एनीमिया हो सकता है। यह अवस्था गर्भवती महिला और भ्रूण के लिए हानिकारक हो सकती है। शरीर में पर्याप्त आयरन के कारण हिमोग्लोबिन का निर्माण होता है, जो फेफड़ों से ऑक्सीजन को अन्य अंगों तक पहुंचाता है (10)
  1. न्यूरल ट्यूब दोष से बचाव : गर्भवती महिला और भ्रूण दोनों के लिए फोलिक एसिड भी जरूरी है। वहीं, पनीर में फोलेट की मात्रा पाई जाती है (11)गर्भावस्था के दौरान अन्य पोषक तत्वों के साथ फोलिक एसिड या फिर फोलेट के सेवन से नवजात शिशु में न्यूरल ट्यूब दोष (Neural Tube Defects) होने का खतरा कम हो सकता है। एक प्रकार का जन्म दोष होता है, जो शिशु के मस्तिष्क या रीढ़ की हड्डी से जुड़ा होता है। गर्भवती महिला को प्रतिदिन 0.4 से 4 मिलीग्राम फोलिक एसिड लेने की आवश्यकता होती है। यहां हम स्पष्ट कर दें कि सिर्फ फोलेट के जरिए जन्म दोष को दूर नहीं किया जा सकता। इसके साथ अन्य पोषक तत्व व चिकित्सक द्वारा बताए गए उपचार की भी आवश्यकता होती है (12)

पनीर के फायदों के बाद अब पनीर से होने वाले दुष्प्रभावों के बारे में जानते हैं।

गर्भावस्था में पनीर के सेवन से होने वाले दुष्प्रभाव

जरूरी नहीं कि पनीर हमेशा ही स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद रहे। किसी-किसी के लिए यह नुकसानदायक भी साबित हो सकता है। पनीर से होने वाले कुछ नुकसान इस प्रकार हैं:

  • पनीर में पाया जाने वाला वसा कई बार हानिकारक प्रभाव डाल सकता है। यह एलडीएल यानी खराब कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ा सकता है, जिससे हृदय रोग होने की आशंका रहती है (13);।
  • कुछ लोगों को दूध और उससे बने पदार्थों से एलर्जी (Lactose Intolerance) होती है। ऐसे लोगों के पनीर खाने से पेट में ऐंठन, सूजन, गैस, दस्त और मतली की समस्या हो सकती है (14) (15)

आगे हम पनीर के हानिकारक प्रभाव काे कम करने के लिए कुछ सावधानियां बता रहे हैं।

गर्भावस्था में पनीर का सेवन करते समय बरती जाने वाली सावधानियां

गर्भावस्था में पनीर का सेवन करते समय कुछ सावधानियों के प्रति सजग होना जरूरी है, जो इस प्रकार है:

  • सबसे पहले आपको डॉक्टर की सलाह ले लेना चाहिए कि आप पनीर खा सकती हैं या नहीं।
  • कभी भी कच्चे पनीर का सेवन न करें। उसमें हानिकारक बैक्टीरिया हो सकते हैं, जो सेहत पर नकारात्मक प्रभाव दिखा सकते हैं। इसलिए, पनीर को अच्छी तरह से पकाकर खाया जा सकता है।
  • पनीर का सेवन उचित और डॉक्टर द्वारा निर्धारित मात्रा में ही करें।
  • हमेशा ताजा पनीर का सेवन करें, बासी पनीर सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकता है।

सावधानियों के बाद लेख के इस हिस्से में हम पनीर की कुछ खास रेसिपी बता रहे हैं।

अपने आहार में पनीर को कैसे शामिल करें

अगर पनीर को सही खाद्य पदार्थों के साथ खाया जाए, तो पनीर के सभी पोषक तत्व 100 प्रतिशत मिल सकते हैं। उदाहरण के लिए पनीर को वॉलनट ऑयल या फिर ऑलिव ऑयल में बनाया जा सकता है। इसके अलावा, पनीर को कीवी के साथ मिलाकर सलाद बना सकते हैं और ऊपर से हल्का नींबू छिड़क सकते हैं। साथ ही पनीर को शिमला मिर्च के साथ बनाकर खाना भी सही है। यहां हम कुछ ऐसे ही डिश लाए हैं, जो स्वास्थ्य के लिहाज से फायदेमंद हैं।

1. पालक पनीर

सामग्री:

  • 150 ग्राम पनीर
  • 100 ग्राम पालक
  • 2-3 हरी मिर्च बीज रहित
  • एक चौथाई कप प्याज, बारीक कटा हुआ या पेस्ट
  • आधा कप टमाटर
  • एक चौथाई चम्मच कसूरी मेथी
  • एक चौथाई चम्मच जीरा पाउडर
  • आधा चम्मच धनिया पाउडर
  • 1 चम्मच अदरक और लहसुन का पेस्ट
  • एक चुटकी गरम मसाला
  • 1 दालचीनी
  • 2 लौंग
  • 2 हरी इलायची
  • एक चुटकी जीरा
  • 4 काजू
  • 2 बड़े चम्मच ताजा क्रीम
  • थोड़े से अखरोट
  • अलसी का पाउडर
  • नींबू का रस (स्वादानुसार)
  • आवश्यकतानुसार तेल या मक्खन
  • आवश्यकतानुसार नमक

बनाने की विधि:

  • कूकिंग पैन को मध्यम आंच पर रखकर एक बड़ा चम्मच तेल डालें और फिर पनीर को उसमें डालकर हल्का भूरा होने तक भून लें। फिर इसे अलग किसी प्लेट में निकालकर रख लें।
  • अब उसी पैन में मध्यम आंच पर लगभग दो से तीन मिनट तक पालक व हरी मिर्च डाल कर भूनें। फिर ठंडा होने के लिए अलग रख दें।
  • एक पैन में तेल गरम करें और उसमें दालचीनी, इलायची व जीरा डालें। जब ये थोड़े चटक हो जाएं, तो इसमें प्याज डालकर सुनहरा होने तक भून लें।
  • फिर इसमें अदरक और लहसुन का पेस्ट भी डाल दें और कुछ सेकंड तक भून लें।
  • फिर इस मिश्रण में टमाटर व नमक भी मिक्स करके थोड़ी देर तक भून लें।
  • अब इसमें धनिया पाउडर, जीरा पाउडर, कसूरी मेथी, और गरम मसाला मिलाएं।
  • इसके बाद आधा कप पानी डालें और लगातार चलाएं, जब तक कि मिश्रण गाढ़ा न हो जाए।
  • फिर इसमें पालक प्यूरी डालकर धीमी आंच पर उबालते रहें। इसे तब तक पकाएं, जब तक कि आ पको बुलबुले बनते न दिखाई दें।
  • अब इसमें पहले से तले हुए पनीर को डालकर मिलाएं। इसे 5 से 10 मिनट तक पकने के लिए छोड़ दें।
  • अगर आप क्रीम का उपयोग कर रहे हैं, तो आप उसे अभी इसमें मिक्स कर सकते हैं। आप काजू को विकल्प के रूप में भी इस्तेमाल कर सकते हैं।
  • अब इसे आप अखरोट से गार्निश कर सकते हैं। साथ ही स्वाद के लिए इसमें अलसी का पाउडर व थोड़ा-सा नींबू का रस डाल सकते हैं।
  • अब आपका पालक पनीर तैयार है। आप इसे चावल, रोटी या नान के साथ खा सकते हैं।

2. पनीर टिक्का

सामग्री:

  • 1 कप पनीर चौकोर आकार में कटे हुए
  • आधा कप शिमला मिर्च के टुकड़े
  • 1 कप लाल प्याज कटी हुई
  • आधा कप फेंटा हुआ दही
  • 1 बड़े चम्मच सरसों का तेल
  • 1 छोटा चम्मच लाल मिर्च पाउडर
  • चुटकी भर हल्दी पाउडर
  • आधा चम्मच चाट मसाला
  • चुटकी भर गरम मसाला
  • 1 छोटा चम्मच जीरा पाउडर
  • 1 छोटा चम्मच धनिया पाउडर
  • आधा चम्मच अदरक-लहसुन का पेस्ट
  • नमक स्वादानुसार
  • 1 बड़ा चम्मच जैतून का तेल
  • गार्निश के लिए धनिया पत्ति

बनाने की विधि:

  • एक बड़े कटोरे में दही लें और इसे चिकना होने तक फेंट लें।
  • फिर इसमें सभी मसाले, नमक और सरसों का तेल अच्छी तरह से मिला लें।
  • अब इस मिश्रण को पनीर के टुकड़ों व कटी हुई शिमला मिर्च लगाएं।
  • फिर पनीर क्यूब और शिमला मिर्च को कबाब सींक पर लगाएं।
  • अब नॉन-स्टिक तवा या कढ़ाही में तेल डालकर गरम करें।
  • तवा या कढ़ाही गर्म होने के बाद कबाब की सींक को उस पर रखकर मध्यम आंच पर सेक लें।
  • सींक को लगभग तीन से चार मिनट तक घुमाएं, जब तक पनीर और सब्जी चारों तरफ से हल्के भूरे रंग की न हो जाएं।
  • अब इसे प्लेट में डालें और ऊपर धनिया पत्ती से ग्रानिश करें।
  • उस पर थोड़ा नींबू का रस व चाट मसाला छिड़क कर पुदीने की चटनी के साथ खाएं।

अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

क्या आप गर्भावस्था के दौरान कच्चा पनीर खा सकते हैं?

गर्भावस्था में कच्चे या बिना पके हुए पनीर का सेवन न करें। हो सकता है वो बैक्टेरिया द्वारा दूषित हो, जो नुकसानदायक हो सकते हैं। इसलिए, पनीर को हमेशा पकाकर ही खाएं।

घर में आसानी से पनीर कैसे बनाएं?

बाजार में मिलने वाले पनीर की जगह घर में बना पनीर सबसे बेहतर व सुरक्षित होता है। घर में इस तरीके से पनीर बनाया जा सकता है:

सामग्री:

  • 1 लीटर दूध
  • 1 चम्मच नींबू या सिरका

बनाने की विधि:

  • दूध को मध्यम से तेज आंच पर उबालें।
  • इसमें नींबू या फिर सिरका मिलाएं।
  • थोड़ी देर में पानी और पनीर दोनों अलग हो जाएंगे।
  • कुछ देर बाद पनीर पूरी तरह से सतह पर बैठ जाएगा।
  • अब एक साफ सूती कपड़े से पानी को छानकर पनीर अलग कर लें।

इस आर्टिकल में आपने पढ़ा कि किस प्रकार से पनीर गर्भावस्था के लिए फायदेमंद है। पनीर गर्भवती के साथ ही भ्रूण के लिए भी लाभदायक हाे सकता है। यह न सिर्फ स्वाद बढ़ाता है, बल्कि इसमें पाए जाने वाले पोषक तत्व जहां एक ओर गर्भवती महिला के स्वास्थ्य के लिए बेहतर हैं, वहीं भ्रूण के विकास में भी कारगर हो सकते हैं। आप गर्भावस्था में डॉक्टर की सलाह से पनीर को अपनी डाइट में संतुलित मात्रा में शामिल कर सकती हैं। गर्भावस्था के दौरान आपके या आपकी किसी परिचित के लिए पनीर किस प्रकार फायदेमंद रहा, अपने अनुभव नीचे दिए कमेंट बाॅक्स के जरिए हमारे साथ शेयर करें।

References:

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