क्या आपका बच्चा कपड़े बदलते समय रोता है ? जानिए वजह और समाधान

छोटे बच्चे दिनभर में कई बार कपड़े गंदे करते हैं। खासतौर से तब जब वो घुटनों के बल चलना सीखते हैं। इसलिए, उनके कपड़ों को बार-बार बदलना पड़ता है। इसके अलावा, जब तक उनकी पॉटी ट्रेनिंग शुरू नहीं होती, तब तक कपड़ों का गीला और बदबूदार होना सामान्य-सी बात है। समस्या तो तब खड़ी होती है, जब वो कपड़े बदलने के दौरान रो-रोकर पूरा घर सिर पर उठा लेते हैं। इस समस्या का सामना लगभग हर मां को करना पड़ता है। अगर आप चाहते हैं कि आपका बेबी कपड़े बदलते समय न रोये, तो एक बार इस आर्टिकल को जरूर पढ़ें। यहां कुछ ऐसे टिप्स दिए गए हैं, जिन्हें फॉलो करने से बच्चे कपड़े बदलते समय भी शांत रहेंगे।

In This Article

बच्चों को क्यों नहीं पसंद कपड़े बदलना?

बच्चे कपड़े पहनते समय रोते हैं, इससे यह तो जाहिर है कि उन्हें कपड़े पहनने की प्रक्रिया पसंद नहीं होती। इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं, जो कुछ इस प्रकार हैं-

  • कपड़े बदलने पर बच्चों के शरीर का तापमान बदलता है, जिससे बच्चे को ठंडा लगती है और असहज महसूस हो सकता है।
  • कपड़े बदलते समय बच्चे के हाथ, पैर और अन्य अंगों में खिंचाव पैदा हो सकता है। नाजुक शरीर होने की वजह से उनके लिए यह हल्का दर्द भी रोने के लिए काफी होता है।
  • जब बच्चे के सिर से कपड़े को निकाला जाता है, तो क्षण भर के लिए उन्हें सांस लेने में थोड़ी दिक्कत हो सकती है, जिस वजह से वह रोने लगते हैं।
  • कपड़े बदलते समय बच्चे को जबरदस्ती एक स्थान पर बैठाया जाता है, जबकि उसका मन किसी और काम या वस्तु की ओर आकर्षित रहता है।
  • बच्चे चंचल होते हैं और उन्हें एक जगह पर लेटना या बैठना कम पसंद होता है। उन्हें हर समय हाथ-पैर चलाना या फिर इधर-उधर घूमने में मजा आता है। एक यह कारण भी है कि वो कपड़े बदलते समय रोना शुरू कर देते हैं।

इनके अलावा, रोने के पीछे कुछ अन्य कारण भी होते हैं। चलिए, उस पर नजर डालते हैं।

  • बच्चे का भूखा होना।
  • बच्चे के शरीर को पोंछने वाले तौलिया का मुलायम न होना।
  • कपड़े बदलने के लिए बच्चे को नहलाया गया हो, तो आंख में बेबी सोप व शैम्पू की वजह से जलन होना।
  • बच्चे के कोमल शरीर में आपके नाखुन का लगना।

आइए, अब कुछ ऐसे टिप्स जान लेते हैं, जिन्हें अपनाकर चेंजिंग टाइम को हैप्पी टाइम बनाया जा सकता है।

कपड़े पहनाते समय कैसे करें शिशु को शांत?

Image: Shutterstock

कपड़े पहनाते समय बच्चे को मानसिक दबाव या कठोर स्पर्श न महसूस हो इसके लिए थोड़ी समझदारी से काम लेना चाहिए, जैसे –

  • बच्चे को कपड़े पहनाने से पहले खुशनुमा माहौल बनाएं। बच्चे को यह महसूस कराएं कि कपड़े पहनना खेल है, कोई डर का काम नहीं।
  • बच्चे के साथ जबरदस्ती न करें, बल्कि उसे आराम से कपड़े पहनाएं।
  • बच्चों के कपड़े अधिक टाइट नहीं होने चाहिए। ढीले कपड़े बच्चे को आसानी से पहनाए जा सकते हैं। वहीं, टाइट कपड़े पहनाने में ज्यादा समय लगता है और शिशु को असहज महसूस हो सकती है।
  • सिर के ऊपर से कपड़े पहनाने पर बच्चे ज्यादा रोते हैं, इसलिए आगे से खुले यानी बटन या चेन वाले कपड़े खरीदें।
  • बच्चे को कपड़े पहनाते समय हंसे-मुस्कुराएं और शिशु से बातें करें। अन्यथा आपको दुखी देखकर भी बच्चा रो सकता है।
  • अगर शिशु को नहलाना नहीं, बल्कि सिर्फ कपड़े ही बदलने हैं, तो शिशु को पूरे कपड़ों को एक साथ न उतारें। इससे बच्चे को ठंड लग सकती है और वो रोना शुरू कर देते हैं। समझदारी दिखाते हुए पहले बच्चे की पैंट को बदले और फिर ऊपर के कपड़े को।
  • तरह-तरह के फनी चेहरे बनाकर शिशु का ध्यान आकर्षित करने का प्रयास करें, आप चाहें तो लोरी भी गुनागुना सकते हैं।
  • आप अपने बच्चे से प्यारी भरी बातें भी कर सकते हैं, बच्चे आपकी भाषा भले ही न समझ पाएं, लेकिन प्यार भरा लहजा और भाव जरूर समझते हैं।
  • शिशु के हाथ में उसका पसंदीदा खिलौना दें।
  • कभी भी गीले, ठंडे और कड़े तौलिया से शिशु का शरीर न पोछें।
  • अगर आप कपड़े बदलते समय फोकस होना चाहते हैं, तो शिशु का ध्यान आकर्षित करने या उसे खेल में लगाने के लिए घर के किसी अन्य सदस्य की मदद ले सकते हैं।
  • कपड़े बदलने के लिए ऐसे समय का चुनाव करें जब बच्चा ज्यादा एक्टिव न हो।
  • इस बात का ध्यान रखें कि खेलते शिशु के एक दम से कपड़े न बदलें। ऐसा करने पर बच्चे बहुत शोर मचाते हैं, क्योंकि उनका पूरा ध्यान खेल में होता है। पहले धीरे-धीरे उसके पास से खिलौने हटाए और फिर खुद उसके संग खेलने लग जाएं। उसके बाद बच्चे के कपड़े बदलना शुरू करें।
  • कपड़े बदलने से पहले उसका भोजन या दूध तैयार रखें, ताकि कपड़े बदलने के बाद तुरंत बच्चे को खिला-पिलाकर शांत किया जा सके।

इस तरह बच्चे को कपड़े पहनाते वक्त भी खुश रखा जा सकता है। ये सच है कि बच्चे का ख्याल रखना एक फुल टाइम जॉब है, जिसे पूरा करने में थोड़ी मुश्किलें आती हैं, लेकिन जब आपका बच्चा मुस्कुराता है, तो इससे बड़ा सुखद अहसास कोई नहीं होता। ऐसी ही मजेदार जानकारियों के लिए मॉमजंक्शन के अन्य लेख भी जरूर पढ़ें।

Was this article helpful?
thumbsupthumbsdown
The following two tabs change content below.